रांची: Babulal Marandi: झारखंड में सहायक वन संरक्षक और वन क्षेत्र पदाधिकारी की सीधी नियुक्ति को लेकर विवाद गहराता जा रहा है।
कांग्रेस पार्टी ने हमेशा अपने स्वार्थ के लिए संविधान का उपयोग किया है और जब भी अवसर मिला, उसे तोड़-मरोड़ कर पेश किया है। वे संविधान की प्रति तो जेब में रखते हैं, लेकिन उसे दिल से स्वीकार नहीं करते। कांग्रेस ने इमरजेंसी के समय लोकतंत्र की सभी सीमाओं को लांघते हुए उसकी गरिमा को ठेस… pic.twitter.com/RxNVR1klfg
— Babulal Marandi (@yourBabulal) May 4, 2025
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष बाबूलाल मरांडी ने इस मुद्दे पर मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को पत्र लिखकर विज्ञापन रद्द करने और नया विज्ञापन जारी करने की मांग की है। उनका आरोप है कि विज्ञापन में वानिकी संकाय से स्नातक अभ्यर्थियों को प्राथमिकता नहीं दी गई, जो न्यायसंगत नहीं है।
क्या है मामला?
झारखंड लोक सेवा आयोग (JPSC) ने अगस्त 2024 में सहायक वन संरक्षक और वन क्षेत्र पदाधिकारी के पदों पर नियुक्ति हेतु विज्ञापन संख्या 04/2024 जारी किया था। इसके तहत प्रारंभिक परीक्षा 15 व 29 जून 2025 को प्रस्तावित है। लेकिन विज्ञापन में वानिकी (Forestry) स्नातकों को कोई विशिष्ट प्राथमिकता नहीं दी गई है, जो इस क्षेत्र के अभ्यर्थियों के लिए न्यायिक और तकनीकी रूप से अनुचित मानी जा रही है।
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Babulal Marandi ने क्या कहा?
मरांडी ने अपने पत्र में कहा है कि बिरसा कृषि विश्वविद्यालय से वानिकी संकाय में स्नातक कर चुके दर्जनों छात्रों ने उनसे मुलाकात कर इस अन्याय की जानकारी दी। उन्होंने कहा कि अन्य राज्यों में वन पदाधिकारियों की नियुक्ति में वानिकी स्नातकों के लिए 50% पद आरक्षित होते हैं।
मरांडी ने मुख्यमंत्री से आग्रह किया कि—
- विज्ञापन संख्या 04/2024 को तुरंत रद्द किया जाए।
- नई प्रक्रिया में वानिकी स्नातकों के लिए 50% पद आरक्षित किए जाएं।
- हाईकोर्ट के पूर्व आदेश को लागू करते हुए वानिकी संकाय के छात्रों को न्याय दिया जाए।
Babulal Marandi News: राजनीतिक और तकनीकी मामला बनता जा रहा है यह मुद्दा
इस मामले ने शैक्षणिक योग्यता, तकनीकी विशेषज्ञता और नियुक्ति प्रक्रिया में न्याय के सवालों को जन्म दिया है। वानिकी में स्नातक छात्र वर्षों से इस क्षेत्र की पढ़ाई करते हैं, और उन्हें प्रशासनिक पदों में वंचित किया जाना राज्य के वन प्रबंधन और संरक्षण की गुणवत्ता पर भी असर डाल सकता है।
मुख्य बिंदु:
- बाबूलाल मरांडी ने JPSC के वन पदाधिकारी भर्ती विज्ञापन को रद्द करने की मांग की
- वानिकी स्नातकों को 50% आरक्षण देने की वकालत
- अन्य राज्यों का उदाहरण देकर झारखंड में सुधार की मांग
- मुख्यमंत्री को पत्र लिखकर नए संशोधित विज्ञापन की अपील



