लखनऊ– ऑपरेशन सिंदूर में हिस्सा लेने वाली भारतीय वायुसेना की विंग कमांडर Vyomika Singh को लेकर समाजवादी पार्टी (सपा) के राष्ट्रीय महासचिव रामगोपाल यादव के विवादित जातिसूचक बयान ने सियासी तूफान खड़ा कर दिया है। उनके इस बयान की चौतरफा आलोचना हो रही है, और अब प्रशासन भी इस पर कार्रवाई की बात कर रहा है।
Vyomika Singh News: ऑपरेशन सिंदूर को PDA से जोड़ा
रामगोपाल यादव ने मुरादाबाद जिले के बिलारी क्षेत्र में सपा संस्थापक मुलायम सिंह यादव की स्मृति में बनाए जा रहे उपवन के भूमि पूजन कार्यक्रम के दौरान केंद्र सरकार और भाजपा पर निशाना साधते हुए कहा, “ऑपरेशन सिंदूर में जो अधिकारी शामिल थे, वे सभी PDA यानी पिछड़ा, दलित, अल्पसंख्यक वर्ग से थे।” उन्होंने व्योमिका सिंह को “हरियाणा की जाटव” बताते हुए उनकी जाति का उल्लेख किया और एक जातिसूचक शब्द का प्रयोग भी कर दिया, जो मंच पर मौजूद लोगों को असहज कर गया।
“सेना जाति नहीं देखती” – योगी आदित्यनाथ
रामगोपाल यादव के इस बयान पर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कड़ा ऐतराज जताया। उन्होंने कहा, “सेना की वर्दी जातिवादी चश्मे से नहीं देखी जाती है। भारतीय सेना का प्रत्येक जवान राष्ट्रधर्म निभाता है, न कि किसी जाति या मजहब का प्रतिनिधि होता है।” सीएम योगी ने सपा पर तुष्टिकरण और वोट बैंक की राजनीति का आरोप लगाते हुए कहा कि सेना के शौर्य को जाति से जोड़ना देश की अस्मिता का अपमान है।
On Samajwadi Party MP Ram Gopal Yadav’s recent reported statement on Wing Commander Vyomika Singh and Air Marshal AK Bharti, Uttar Pradesh CM Yogi Adityanath says, “The uniform of the army is not seen through a casteist lens. Every soldier of the Indian army performs national… pic.twitter.com/mCMQkinwHD
— ANI UP/Uttarakhand (@ANINewsUP) May 15, 2025
Vyomika Singh News:प्रशासन भी हरकत में
मुरादाबाद के एसएसपी सतपाल अंतिल ने बताया कि बिलारी में दिए गए बयान का वीडियो प्रशासन को प्राप्त हुआ है और मामले की जांच की जा रही है। उन्होंने कहा कि “यदि जांच में आपत्तिजनक बयान की पुष्टि होती है, तो नियमानुसार कार्रवाई की जाएगी।”
Vyomika Singh News: विपक्षी नेता की जुबान फिर फिसली
रामगोपाल यादव ने अपने भाषण में पहले विंग कमांडर को “दिव्या” कहकर संबोधित किया, लेकिन मंच पर मौजूद सपा सांसद आदित्य यादव के टोकने पर उन्होंने नाम सुधारा। उन्होंने कहा कि “यदि सरकार को इन अधिकारियों की सामाजिक पृष्ठभूमि की जानकारी पहले होती, तो उनके साथ भी वही व्यवहार होता जो कर्नल सोफिया कुरैशी के साथ हुआ।”
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पिछले बयान से भी हो चुका है विवाद
गौरतलब है कि इससे पहले मध्यप्रदेश के मंत्री विजय शाह ने कर्नल सोफिया कुरैशी को लेकर विवादित बयान देते हुए उन्हें “आतंकियों की बहन” तक कह दिया था। हाईकोर्ट ने इस बयान पर स्वतः संज्ञान लेते हुए एफआईआर के आदेश दिए थे, जिसे सुप्रीम कोर्ट में चुनौती देने पर भी शाह को राहत नहीं मिली।
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